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रायपुर 12 दिसम्बर 2025/ ETrendingIndia / CAQM forms expert committee to reduce vehicular air pollution in Delhi-NCR / दिल्ली एनसीआर वायु प्रदूषण , दिल्ली- एनसीआर में गाड़ियों से निकलने वाला उत्सर्जन वायु प्रदूषण एक बड़ा कारण बना हुआ है, जिससे पीएम2.5, नाइट्रोजन ऑक्साइड (एनओएक्स), कार्बन मोनोऑक्साइड (सीओ) और वोलेटाइल ऑर्गेनिक कंपाउंड (वीओसी) उत्सर्जन बढ़ रहा है। इससे इस इलाके में सार्वजनिक स्वास्थ्य से जुड़ी गंभीर चुनौतियां पैदा हो रही हैं।

दिल्ली -एनसीआर में गाड़ियों से निकले उत्सर्जन से होने वाले वायु प्रदूषण को कम करने के लिए तुरंत रणनीति बनाने की जरूरत को ध्यान में रखते हुए, एनसीआर और निकटवर्ती क्षेत्रों में वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (सीएक्यूएम) ने एक विशेषज्ञ समिति बनाई है।

विशेषज्ञ समिति वाहन क्षेत्र में उत्सर्जन कम करने के लिए एक मजबूत, कई तरह के रोडमैप की सलाह देने के लिए जाने-माने शिक्षाविदों, स्वास्थ्य विशेषज्ञों, ऑटोमोटिव अनुसंधान संस्थानों और इस क्षेत्र के दूसरे विशेषज्ञों को एक साथ लाती है।

समिति ये काम करेगी:

दिल्ली-एनसीआर में स्वच्छ मोबिलिटी से जुड़ी नीति, कार्यक्रम और नियामकीय तंत्र की समीक्षा करेगी, जिसमें बीएस मानक, इलेक्ट्रिक मोबिलिटी पहल और ईंधन दक्षता मानक शामिल हैं।

गाड़ियों से होने वाले उत्सर्ज और उससे जुड़े जोखिम के सेगमेंट-वार योगदान का आकलन करेगी और गाड़ियों से होने वाले उत्सर्जन को कम करने के लिए नियामकीय उपायों की सिफारिश करेगी।

गाड़ी के अलग-अलग सेगमेंट में तेजी से इलेक्ट्रिक व्हीकल (ईवी) ट्रांज़िशन के लिए तकनीक की तैयारी, इंफ्रास्ट्रक्चर की जरूरतों, लागत के असर और प्रोत्साहन योजना की जांच करेगी।

गाड़ियों से होने वाले वायु प्रदूषण को कम करने के लिए, जरूरत के हिसाब से और उपायों की सिफारिश करेगी।

विशेषज्ञ समिति दो महीने के अंदर अपनी सिफारिशें देगी। समिति हितधारकों से भी सलाह ले सकती है और अंतरिम सिफारिशें दे सकती है। विशेषज्ञ समिति जरूरत के हिसाब से और विशेषज्ञों या संस्थानों को भी शामिल कर सकती है।

समिति की पहली मीटिंग 15.12.2025 को होगी। इस विशेषज्ञ समिति के बनने से दिल्ली-एनसीआर में वायु गुणवत्ता सुधारने और सार्वजनिक स्वास्थ्य की सुरक्षा के लिए सबूतों पर आधारित नीतिगत पहलों को आगे बढ़ाया जाएगा।