रायपुर, 31 अक्टूबर 2025/ ETrendingIndia / मरीन फिशरीज जनगणना 2025 का शुभारंभ
कोच्चि में केंद्रीय राज्यमंत्री जॉर्ज कुरियन ने शुक्रवार को डिजिटल मरीन फिशरीज जनगणना 2025 का शुभारंभ किया। इसके साथ ही VYAS–BHARAT और VYAS–SUTRA मोबाइल ऐप्स लॉन्च किए गए। यह पहल भारत की फिशरीज जनगणना प्रक्रिया में एक ऐतिहासिक डिजिटल परिवर्तन का प्रतीक है।
डिजिटल प्लेटफॉर्म से डेटा कलेक्शन में पारदर्शिता
इस जनगणना में पारंपरिक पेपर आधारित प्रणाली की जगह पूरी तरह डिजिटल, geo-referenced डेटा कलेक्शन सिस्टम लागू किया गया है। इससे 13 तटीय राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में लगभग 12 लाख मछुआरा परिवारों का डेटा एकत्र किया जाएगा। इसके अलावा, 45 दिनों में यह जनगणना पूरी की जाएगी, जिससे प्रक्रिया अधिक तेज़ और सटीक बनेगी।
VYAS ऐप्स से रियल-टाइम मॉनिटरिंग
जनगणना के लिए ICAR–CMFRI द्वारा विकसित VYAS ऐप्स का उपयोग किया जाएगा। इनमें VYAS–NAV से गांव और बंदरगाह सत्यापन, VYAS–BHARAT से घर-परिवार और ढांचा विवरण, तथा VYAS–SUTRA से रियल-टाइम सुपरविजन और मॉनिटरिंग की जाएगी। इससे पारदर्शिता बढ़ेगी और डेटा त्रुटिहीन रहेगा।
ड्रोन तकनीक और सामाजिक डेटा संग्रह
इसके अलावा, इस बार ड्रोन तकनीक का उपयोग भी किया जा रहा है ताकि मछली पकड़ने वाले जहाजों का हवाई सर्वेक्षण किया जा सके। साथ ही, इस जनगणना में परिवार की आय, ऋण, बीमा स्थिति और COVID-19 के सामाजिक प्रभावों से संबंधित जानकारी भी जुटाई जाएगी। इससे सरकार को योजनाओं की प्रभावशीलता और समुदाय की वास्तविक स्थिति समझने में मदद मिलेगी।
मछुआरों के लिए ‘स्मार्ट सेंसस, स्मार्ट फिशरीज’ की ओर कदम
कुल मिलाकर, मरीन फिशरीज जनगणना 2025 भारत में फिशरीज क्षेत्र को डिजिटल और डेटा-आधारित बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम है। “स्मार्ट सेंसस, स्मार्ट फिशरीज” के नारे के साथ यह पहल तटीय समुदायों के विकास और कल्याण योजनाओं के बेहतर लक्ष्य निर्धारण में मदद करेगी।
