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रायपुर 13 नवम्बर 2025 / ETrendingIndia / Space Tech Policy-2025 will be implemented soon: Chief Minister, Knowledge and AI City to be built in Bhopal / Space Tech Policy-2025 , मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि मध्यप्रदेश अब अंतरिक्ष तकनीक के क्षेत्र में एक नई उड़ान भरने जा रहा है। हम बहुत जल्द स्पेस टेक पॉलिसी-2025 लागू करने जा रहे हैं, जिससे राज्य में सैटेलाइट डेटा, रिमोट सेंसिंग और स्पेस स्टार्ट-अप्स को प्रोत्साहन मिलेगा।

भोपाल में 2000 एकड़ भूमि पर नॉलेज एण्ड एआई सिटी विकसित की जायेगी। यह सिटी आधुनिक हाईटेक सिटी और सायबर सिटी की तर्ज पर बनाई जायेगी। यहां विश्वस्तरीय संस्थान, अनुसंधान केन्द्र और स्टार्ट-अप्स एक साथ आएंगे जिससे मध्यप्रदेश भारत का एआई हब बन जायेगा।

साइंस सिटी प्रोजेक्ट के लिये 25 एकड़ भूमि आवंटित की जा रही है। यहां विज्ञान, नवाचार, और तकनीकी अनुसंधान के लिये अत्याधिक सुविधाएं विकसित की जायेंगी। यह परियोजना आने वाले वर्षों में हमारे युवाओं और विद्यार्थियों के लिये ज्ञान और प्रयोग का केन्द्र बनेगी।

मुख्यमंत्री डॉ. यादव गुरूवार को इंदौर के ब्रिलियंट कन्वेंशन सेन्टर में आयोजित मध्यप्रदेश टेक ग्रोथ कॉन्क्लेव 2.0 में शामिल निवेशकों को संबोधित कर रहे थे।

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि इन्दौर में मध्यप्रदेश टेक ग्रोथ कॉन्क्लेव 2.0 में कुल 68 कार्य हुए जिनमें उद्घाटन, भूमि-पूजन, आवंटन-पत्र वितरण, एग्रीमेंट, एमोयू, नीति एवं पोर्टल लॉन्च सहित उद्योगपतियों के साथ वन-टू-वन मीटिंग हुई। इनसे प्रदेश में कुल 15 हजार 896 करोड़ का निवेश आएगा साथ ही 64 हजार 85 रोजगार के अवसर सृजित होंगे।

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि इन्वेस्टर्स समिट से अप्रेल 2025 में हुए टेक ग्रोथ कॉन्क्लेव 1.0 तक लगभग 99 निवेश प्रस्ताव हुए थे, जिससे लगभग 34 हजार करोड़ रूपये के निवेश और 2 लाख लोगों के लिये रोजगार के अवसर सृजित हुए हैं।

9 कंपनियों को प्रदाय किए भूमि आवंटन के आशय-पत्र

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कॉन्क्लेव में निवेश और उद्योग संवर्धन लिए 9 कंपनियों को भूमि आवंटन के लिये आशय पत्र जारी किए गए। इन इकाइयों से प्रदेश में कुल 10.61 करोड़ रुपये का निवेश और लगभग 740 नए रोजगार अवसर सृजित होंगे। टॉस, इजीसॉफ्ट कंपनी, ओम्निस बिल्डकेयर एलएलपी, फ्लैट ट्रेडब्रोकिंग सॉफ्टवेयर डेवलपमेंट, असिस्ट क्लिक प्राइवेट लिमिटेड, लॉजिमोंक, मैमथ एग्जॉस्ट्स इंडिया, एमपी ऑनलाइन, रिद्धि एंटरप्राइज को भूमि आवंटन पत्र जारी किए गए हैं।

कॉन्क्लेव में मध्यप्रदेश में निवेश और रोजगार सृजन को बढ़ावा देने की दिशा में 7 महत्वपूर्ण एमओयू पर हस्ताक्षर किए गए। इन एमओयू से प्रदेश में लगभग 800 करोड़ रुपये का निवेश होगा तथा 10 हजार 500 से अधिक नए रोजगार अवसर सृजित होंगे।

ये एमओयू सिलिकॉन वेफर विनिर्माण संयंत्र, आईटी पार्क विकास, टेक्नोलॉजी रिसर्च, गेमिंग, स्किल डेवलपमेंट एवं नवाचार जैसे उभरते क्षेत्रों से जुड़े हैं। इस पहल में सोमवेदा एंटरप्राइज, डीएवीवी आईटी पार्क, एएनएसआर, गेम डेवलपर एसोसिएशन ऑफ इंडिया, इंडस आंत्रप्रेन्योर्स राजस्थान, मिलिट्री कॉलेज ऑफ टेलीकम्युनिकेशन इंजीनियरिंग महू, कोडयोगी फाउंडेशन जैसे प्रतिष्ठित संस्थान शामिल हैं।

राज्य सरकार एवं भारतीय सेना के मिलिट्री कॉलेज ऑफ टेलीकम्युनिकेशन इंजीनियरिंग के मध्य सायबर सुरक्षा एवं कृत्रिम बुद्धिमत्ता के क्षेत्र में संयुक्त अनुसंधान एवं विकास के लिए एमओयू पर हस्ताक्षर किए गए।

मुख्यमंत्री डॉ. यादव की उपस्थिति में 85.51 करोड़ निवेश के महत्वपूर्ण एग्रीमेंट् पर हस्ताक्षर हुए। इसमें आईआईएसईआर भोपाल के सहयोग से एआई-संचालित ड्रोन प्रौद्योगिकी उत्कृष्टता केंद्र की स्थापना शामिल है, जिसमें उन्नत प्रयोगशालाएँ और स्टार्ट-अप इनक्यूबेशन सहायता प्रदान की जाएगी। एल एंड टी एड्यूटेक के साथ मिलकर प्रदेश में स्किल ट्रेनिंग हेतु मास्टर सर्विस एग्रीमेंट किया जाएगा, इससे नये तकनीकी क्षेत्रों में युवाओं को प्रशिक्षण प्रदान किया जाएगा। इसके अंतर्गत एलएनसीटी कॉलेज, ओरिएंटल ग्रुप, बंसल कॉलेज, सेज यूनिवर्सिटी, आईईएस यूनिवर्सिटी शामिल हैं।

सायबर सुरक्षा को सुदृढ़ करने सीआईएसओ पोर्टल किया लांच

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने सरकारी विभागों में सायबर सुरक्षा को सुदृढ़ करने के लिए सीआईएसओ पोर्टल की शुरुआत की। यह सुरक्षित और केंद्रीकृत प्लेटफ़ॉर्म रीयल-टाइम मॉनिटरिंग, थ्रेट इंटेलिजेंस और अनुपालन प्रबंधन को सक्षम बनाएगा, जिससे सरकारी प्रणालियों में सुरक्षा, पारदर्शिता और दक्षता में अभूतपूर्व सुधार होगा।

ड्रोन डेटा रिपॉज़िटरी का हुआ शुभारंभ

“डिजिटल मध्यप्रदेश” की परिकल्पना को सशक्त करते हुए मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने ड्रोन डेटा रिपॉज़िटरी (DDR) का भी शुभारंभ किया। यह पहल भूमि प्रबंधन, शहरी नियोजन, वन संरक्षण, सिंचाई और आपदा प्रबंधन जैसे क्षेत्रों में ड्रोन-आधारित डेटा के उपयोग को बढ़ावा देगी, जिससे डेटा-संचालित शासन और स्मार्ट गवर्नेंस की नई मिसाल कायम होगी।

22 नई इकाइयों का लोकार्पण

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने राज्य के औद्योगिक और तकनीकी विकास को नई गति प्रदान करते हुए 22 नई औद्योगिक, तकनीकी एवं नवाचार-आधारित इकाइयों का लोकार्पण किया। इनमें 257.46 करोड़ रुपये का निवेश होगा और लगभग 2125 नए रोजगार सृजित होंगे। ये अत्याधुनिक इकाइयाँ मुख्य रूप से इंदौर, भोपाल, जबलपुर और ग्वालियर के आईटी पार्क में स्थापित की जायेंगी जिनमें ग्लोबल कैपेबिलिटी सेंटर, स्टार्ट-अप्स के लिए इन्क्यूबेशन सेंटर, ड्रोन मैन्युफैक्चरिंग यूनिट तथा अन्य हाई-टेक कंपनियाँ शामिल हैं। इससे प्रदेश तकनीकी हब के रूप में उभरेगा और युवा उद्यमिता एवं रोजगार सृजन को बढ़ावा मिलेगा।

4 प्रमुख परियोजनाओं का भूमि-पूजन

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कॉन्क्लेव में वर्चुअली 4 नई परियोजनाओं का भूमि-पूजन किया, जिनसे 1346.75 करोड़ रुपये का निवेश और लगभग 21,150 नए रोजगार अवसर सृजित होंगे। ये परियोजनाएँ इंदौर, भोपाल, जबलपुर एवं ग्वालियर में प्रमुख आईटी पार्क, ड्रोन टेक्नोलॉजी और ईएसडीएम क्षेत्र से जुड़ी हैं। एलटीआई इंडस्ट्री द्वारा 810 करोड़ रुपये की लागत से इंदौर के सुपर कॉरिडोर में 10 एकड़ भूमि पर अत्याधुनिक आईटी टेक्नोलॉजी कंसल्टिंग केंद्र स्थापित होगा, जिससे 10 हजार रोजगार सृजित होंगे। डीएनआर कॉर्पोरेशन द्वारा 524 करोड़ रुपये की लागत से इंदौर के सुपर कॉरिडोर में स्टेट-ऑफ-द-आर्ट आईटी पार्क विकसित किया जाएगा। इससे 11 हजार रोजगार सृजित होंगे। मेसर्स इन्फिनी सेल्स कॉर्पोरेशन द्वारा भोपाल में 4 करोड़ रुपये की लागत से एलईडी विनिर्माण इकाई स्थापित होगी, जिससे 50 रोजगार सृजित होंगे। मेसर्स आरएआर इंजीनियरिंग द्वारा जबलपुर में 8.75 करोड़ रुपये की लागत से रक्षा और एयरोस्पेस क्षेत्र के लिए इंटेलिजेंट मोशन और वाइब्रेशन कंट्रोल सिस्टम हेतु विनिर्माण हब स्थापित होगा, जिससे 100 रोजगार मिलेंगे।

उद्योग प्रमुखों के संबोधन

वेना इंडिया के वाइस प्रेसिडेंट श्री पार्थ सेनगुप्ता ने एम.पी. टेकग्रोथ कॉन्क्लेव 2.0 में कहा कि मध्य प्रदेश में GCCs की नई लहर चल रही है।राज्य सरकार के सहयोग के लिए आभार व्यक्त करते हुए उन्होंने बताया कि टियर-1 शहरों की चुनौतियों के बीच टियर-2 शहरों, विशेषकर इंदौर और भोपाल में GCCs के लिए बेहतर अवसर हैं। कुशल टैलेंट, सुगम प्रक्रियाएं, प्रोत्साहनकारी नीतियां, उत्कृष्ट अवसंरचना और उच्च जीवन गुणवत्ता के कारण इंदौर में GCC सफल हो रहे हैं।

अनंत टेक्नोलॉजीज लिमिटेड के संस्थापक डॉ. सुब्बाराव पवुलुरी ने स्पेस टेक्नोलॉजी के महत्व पर प्रकाश डालते हुए कहा कि उन्नत सैटेलाइट तकनीक के माध्यम से राज्य में आपदा प्रबंधन के कार्यों को अधिक प्रभावी और आसान बनाया जा सकता है। साथ ही, उन्होंने ज्ञान के प्रसार के लिए “डिजिटल हाईवे” की स्थापना की बात कही .

इज़ी वेंचर्स के श्री इशान हेडन ने कहा कि मध्यप्रदेश में ड्रोन प्रौद्योगिकी कृषि, खनन, निर्माण आदि हर क्षेत्र में तीव्र गति से विकसित हो रही है। इस क्षेत्र में भविष्य में लगभग 50 लाख रोजगार सृजित होने की संभावनाएँ हैं।

एएनएसआर के को-फाउंडर विक्रम आहूजा ने कहा कि म.प्र. समर्पित जीसीसी नीति लाने वाला पहला राज्य बना है। इंदौर जैसे शहर अब “टैलेंट हब” बनकर शीर्ष कंपनियों को आकर्षित करेंगे, निवेश लाएंगे और भविष्य के कार्य-मॉडल को नया रूप देंगे।

मुख्यमंत्री डॉ. यादव द्वारा 6 प्रमुख औद्योगिक परियोजनाओं के लिए सीसीआईपी ऑर्डर जारी किए गए। इन परियोजनाओं से प्रदेश में औद्योगिक विकास को नई गति मिलेगी। कुल 2999.2 करोड़ के निवेश के साथ लगभग 6150 रोजगार अवसर सृजित होंगे।