रायपुर / ETrendingIndia / रेल मल्टीट्रैकिंग परियोजनाएं , छह राज्यों में बढ़ेगा रेलवे नेटवर्क
कैबिनेट की आर्थिक मामलों की समिति ने गुरुवार को रेल मल्टीट्रैकिंग से जुड़ी चार प्रमुख परियोजनाओं को हरी झंडी दे दी। इन परियोजनाओं की कुल लागत करीब ₹11,169 करोड़ होगी। यह कार्य 574 किलोमीटर नए ट्रैक जोड़ेंगे और इन्हें 2028-29 तक पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है।
किन राज्यों को मिलेगा लाभ
यह रेल मल्टीट्रैकिंग परियोजनाएं महाराष्ट्र, मध्यप्रदेश, पश्चिम बंगाल, बिहार, ओडिशा और झारखंड के 13 जिलों में लागू की जाएंगी। इसमें इटारसी-नागपुर के बीच चौथी लाइन, औरंगाबाद (छत्रपति संभाजीनगर)-परभणी सेक्शन की डबलिंग, अलीउबाड़ी रोड-न्यू जलपाईगुड़ी व डांगोपोसी-जारोली मार्ग पर तीसरी और चौथी लाइन शामिल हैं।
गातिशक्ति योजना से जुड़ी पहल
ये सभी रेल परियोजनाएं पीएम गति शक्ति राष्ट्रीय मास्टर प्लान के अंतर्गत लाई जा रही हैं। इसका उद्देश्य मल्टी-मॉडल कनेक्टिविटी को बढ़ावा देना है। इससे यातायात जाम में कमी आएगी, ट्रेनों की संचालन क्षमता बढ़ेगी और यात्रियों व माल ढुलाई दोनों के लिए सेवाएं अधिक भरोसेमंद होंगी।
रोज़गार और पर्यावरण को मिलेगा लाभ
इस परियोजना से करीब 2.29 करोड़ व्यक्ति-दिवस का सीधा रोजगार मिलेगा। लगभग 43.6 लाख की आबादी वाले 2,309 गांवों को इसका लाभ होगा। साथ ही, इससे हर साल 16 करोड़ लीटर तेल की बचत और 515 करोड़ किलोग्राम CO₂ उत्सर्जन में कमी आएगी। यह प्रभाव लगभग 20 करोड़ पेड़ लगाने जितना होगा।